
शेरगढ़ के ग्रामीणों ने लगाया आरोप, नहीं बांटी जा रही राहत सामग्री
रिपोर्ट: गिर्राज सिंह
ब्यूरो चीफ मथुरा
की लाइन टाइम्स
-ट्रैक्टर से उतरवा लिए राहत सामग्री के पैकेट, जिला पंचायत सदस्य ने लगाया आरोप
मथुरा । यमुना में जलस्तर बढ़ने की वजह से शेरगढ़ क्षेत्र के बाबूगढ़ व गुलालपुर गांव में चारों तरफ पानी भर गया था जिसकी वजह से ग्रामीण क्षेत्र बाढ़ की चपेट में आ गये थे, इन गांवों का शेरगढ कस्बे से संपर्क पूरी तरह टूट गया था, प्रशासन द्वारा कुछ लोगों को नाव के जरिए बाढ़ राहत चौकी पर लाया गया, वहीं समाजसेवियों द्वारा भी गांव में फंसे लोगों को फल व सामग्री वितरण कर बाढ़ में फंसे लोगों को राहत पहुंचाई गई, सरकार द्वारा अभी भी बाढ़ में फंसे लोगों को खाद्य सामग्री पहुंचाई जा रही है ।
छाता तहसील में बाबूगढ़ गांव के लिए 200 पैकेट, गुलालपुर गांव के लिए 100 राहत सामिग्री पैकेट वितरण करने के लिए तहसील के गोदाम में रखे हुए हैं, यह राहत सामग्री लगभग तीन दिन पहले तहसील में पहुंच गई थी लेकिन राहत सामग्री को गांव में वितरण नहीं कराया गया है, जिला पंचायत सदस्य लक्ष्मण सिंह ने एसडीएम से बात कर गांव में राहत सामग्री वितरण करने के लिए कहा तो उन्होंने बाबूगढ़ गांव के लिए राहत सामग्री ले जाने के लिए बोल दिया, ट्रैक्टर में 100 पैकेट राहत सामग्री के लोड कर लिए गये, एसडीएम ध्रुव खेड़िया ने 30 पैकेट वापस रखवा लिये ।
जिला पंचायत सदस्य का कहना है कि सिर्फ 70 पैकेट ही ले जाने दिये जबकि बाबूगढ़ के लिए 200 पैकेट राहत सामग्री आई थी, लक्ष्मण सिंह ने बताया कि कई दिन से गोदाम में पड़े आलू के कट्टे भी खराब होने लगे हैं, पैकेट में रखी सामग्री भी खराब होने लग गई है, आखिर गांव के लिए 200 पैकेट आये तो 70 ही पैकेट ही क्यों दिये गये जबकि ट्रेक्टर में 100 पैकेट रखवा लिए थे, उसके बाद भी 30 वापस उतरवा लिये, उन्होंने आरोप लगाते हुए कहा कि स्थानीय प्रशासन बाढ़ में फंसे लोगों के साथ मजाक कर रहा है, जो सरकार द्वारा राहत सामग्री आई है उसे सही तरीके से वितरण नहीं किया जा रहा है ।





